टूटा जो दिल रोया जो दिल आँसुओ का वो नज़ारा होगा,
हमसे ना पूछ तू साकी बाद उसके हाल क्या हमारा होगा.
दिल ने दी हैं दुवायें उसके लिए ही निकलती मेरी सदायें,
सोच ज़रा दें हमें बता बाद उसके क्या ईश्क दोबारा होगा.
बयाबानों की हम खाक छानेंगे, तन्हाई का होगा आलम,
आँखों में उसकी तस्वीर लिए बेखुदी का एक मारा होगा.
पागल कहेगा कोई दीवाना कहेगा, कोई हम पे हँसेगा,
बहेगा इस दिल से खून देखने वालो में जहाँ सारा होगा.
सपने बिखर जायेंगे दिन और रात जैसे तब ठहर जायेंगे,
ना देखेगी नज़र पलट, नाम किसी ने राह में पुकारा होगा.
रोयेंगे हम अकेले-अकेले नहीं रहेगी और जिंदगी की चाह,
चाहेगा दिल जिसका साथ ए साकी साथ वो तुम्हारा होगा.
Tuesday, January 26, 2010
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